শুক্রবার, ২৩ মে, ২০২৫

गर्भपात क्या है? कारण, प्रक्रिया और ज़रूरी सावधानियाँ - Abortion in Hindi

गर्भपात एक ऐसी स्थिति होती है जो महिलाओं को न केवल शारीरिक बल्कि मानसिक रूप से भी कष्‍ट देती है। पति-पत्‍नी दोनों के लिए ही गर्भपात का निर्णय लेना काफी मुश्किल होता है। गर्भावस्‍था को खत्‍म करना या भ्रूण को नष्‍ट करना ‘गर्भपात’ कहलाता है। चिकित्‍सक दवाओं या सर्जरी द्वारा गर्भपात करते हैं।

गर्भपात की प्रक्रिया और सुरक्षा गर्भावस्‍था के चरण पर निर्भर करती है। इसका मलतब है कि गर्भावस्‍था के शुरुआती चरण में दवाओं द्वारा गर्भपात किया जा सकता है जबकि अगर कोई महिला गर्भावस्‍था को अधिक समय हो जाने के बाद गर्भपात करवाना चाहती है तो उसे सर्जरी का सहारा लेना पड़ सकता है। जितना जल्‍दी गर्भपात होगा, इसकी प्रक्रिया उतनी ही आसान होगी।

कई मामलों में गर्भपात की प्रक्रिया आसान होती है लेकिन इसके कुछ दुष्‍प्रभाव भी होते हैं जैसे कि बहुत ज्‍यादा ब्‍लीडिंग होना, पेल्विक हिस्‍से में ऐंठन महसूस होना, जी मिचलाना और उल्‍टी आदि। हालांकि, अगर गर्भपात करवाने के बाद आपको बहुत ज्‍यादा खून बहने, बुखार, तेज दर्द जैसे गंभीर लक्षण नज़र आ रहे हैं तो तुरंत स्‍त्री रोग विशेषज्ञ से संपर्क करें।

गर्भपात का असर महिलाओं की प्रजनन क्षमता पर नहीं पड़ता है। प्रशिक्षित गायनेकोलोजिस्‍ट की देखरेख में गर्भपात करवाना सुरक्षित रहता है। 



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